Bhartiya Bhasha, Siksha, Sahitya evam Shodh
ISSN 2321 - 9726 (Online) New DOI : 10.32804/BBSSES
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गांधी और सिनेमा
1 Author(s): DR SUDHANSHU KUMAR SHUKLA
Vol - 10, Issue- 7 , Page(s) : 11 - 13 (2019 ) DOI : https://doi.org/10.32804/BBSSES
गांधी न ही भगवान् है, न ही अवतार है, न ही कोई चमत्कारी शक्ति के रूप में भारत में अवतरित हुए। एक जन सामान्य के रूप में, मैं गांधी को देखता हूँ। जिनका उद्देश्य कोई वाद- सम्प्रदाय चलाना नहीं था, वह तो मात्र जन-कल्याण की भावना से ग्रस्त होकर ही कोई कार्य नहीं करते थे। फिर भी कोई ना कोई ऐसी शक्ति, ऐसा आकर्षण उनके जीवन में अवश्य रहा है, जिसके कारण आज हम भारतीय ही नहीं विश्व मानव समुदाय जीवन की तमाम समस्याओं का निदान गांधी में देखता है, यही उनकी महत्ता, विराटता है कि हम आज भी उनकी प्रासंगिकता को सार्थक मानते हैं।